गढ़वा : संसद भारतीय लोकतंत्र का सबसे महत्वपूर्ण प्रतीक और संविधान का केंद्रीय तत्व है। इसी भावना को आत्मसात करते हुए स्थानीय जीएन कान्वेंट स्कूल में भारतीय लोकतांत्रिक व्यवस्था पर आधारित गुप्त मतदान के माध्यम से बाल सांसदों का चुनाव हर्षोल्लास एवं उत्साहपूर्ण वातावरण में संपन्न हुआ। इस चुनाव में छात्र-छात्राओं ने बढ़-चढ़कर हिस्सा लिया।
कार्यक्रम में उपस्थित विद्यार्थियों को संबोधित करते हुए विद्यालय के निदेशक ने कहा कि बाल संसद, संसद का ही एक लघु रूप है जिसे विद्यालय के छात्र-छात्राओं द्वारा निर्मित किया जाता है। यह एक ऐसा माध्यम है जिसके जरिए विद्यार्थियों में लोकतांत्रिक गुणों के साथ-साथ प्रेम, त्याग, सहानुभूति, करुणा, दया और परोपकार जैसे भावों का विकास होता है।
बाल संसद के माध्यम से विद्यार्थियों द्वारा स्वच्छता अभियान, पर्यावरण संरक्षण गतिविधियाँ, तथा बहुसांस्कृतिक कार्यक्रमों जैसे विविध सामाजिक एवं शैक्षणिक कार्यक्रमों का आयोजन किया जाता है, जिससे उनमें उत्तरदायित्व का बोध उत्पन्न होता है। भारतीय लोकतांत्रिक प्रणाली में बाल संसद एक प्रतिबिंब के रूप में कार्य करती है, जिसमें सदस्यों के साथ-साथ कुछ विशिष्ट पदाधिकारी भी होते हैं।
चुनाव प्रक्रिया का संपूर्ण कार्य छात्रों द्वारा संपन्न किया गया, जबकि शिक्षकों ने इस प्रक्रिया का बाह्य अवलोकन किया। गुप्त मतदान के जरिए कक्षा दसवीं की छात्रा स्मृति भाग्यश्री ने 39 मत प्राप्त कर विजेता का स्थान प्राप्त किया, वहीं संध्या कुमारी द्वितीय स्थान पर रहीं। विजयी प्रतिभागियों को शपथ भी दिलाई गई।
सभा का संचालन कृष्णा कुमार की अगुवाई में किया गया, जबकि चुनाव संचालन प्रक्रिया में बी.के. ठाकुर, कृष्णा कुमार और विकास कुमार ने योगदान दिया। गुप्त मतदान कक्षा 6वीं से 12वीं तक के छात्रों ने बैलेट पेपर के माध्यम से किया। राजनीतिक विज्ञान के शिक्षक कृष्णा कुमार ने चुनाव प्रक्रिया को विस्तारपूर्वक समझाया, जबकि संतोष प्रसाद ने पीठासीन अधिकारी की भूमिका निभाई।
कार्यक्रम को सफल बनाने में शिक्षक खुर्शीद आलम, वीरेंद्र साह, विकास कुमार, नीरा शर्मा, नीलम कुमारी, सरिता दुबे, सुनीता कुमारी, शिवानी कुमारी, रागिनी कुमारी और ऋषभ श्रीवास्तव की सराहनीय भूमिका रही।