पिपरवार।रैयत विस्थापित मोर्चा की केंद्रीय कार्यकारिणी सदस्य एवं कोर कमेटी की महत्वपूर्ण बैठक शनिवार को दरभंगा हाउस रांची के जेसीएमयू यूनियन कार्यालय में संपन्न हुआ। बैठक की अध्यक्षता केंद्रीय अध्यक्ष फागु बेसरा एवं संचालन केंद्रीय उपाध्यक्ष इक़बाल हुसैन ने किया।बैठक में झारखंड क्षेत्र से रामगढ़ कुजु ढोरी कथारा हजारीबाग बरका सयाल टंडवा एनटीपीसी मगध आम्रपाली पिपरवार अशोका एनके एरिया तेतरिया खाद बोकारो एरिया समेत विभिन्न क्षेत्रों के विस्थापित प्रतिनिधि शामिल हुए।बैठक में मुख्य रूप से रैयत विस्थापित मोर्चा का 11वां स्थापना दिवस मनाने, जेजे लैंड में नौकरी,रोड सेल, सीएसआर योजना, पुनर्वास, मुआवजा,सिटीओ क्लीयरन्स,टाना भक्तों एवं आदिवासियों का वनपट्टा दिलाने,विस्थापन आयोग प्रस्तावित नया कोल बेयरिंग एंड एक्वाजेसन डेवलॉपमेंट एक्ट 2021 बिल खदानों की विस्तारीकरण पर हो रही विस्थापन समस्या पर गहन चिंतन मंथन किया गया।बैठक को संबोधित करते हुए केंद्रीय महासचिव ने कहा कि रैयत विस्थापित मोर्चा रैयतों-विस्थापितों के हक़- अधिकारों की रक्षा के लिए किसी भी हद तक जाने और हितों की रक्षा के लिए सदैव आंदोलन को तैयार रहता है ।अध्यक्ष फागु बेसरा ने कहा कि अधिकारों के प्रति लोगों को जागरूक करना ही मोर्चा का मुख्य कर्तव्य है, DMF से आए धन का पहला हक़ रैयतों-विस्थापितों का है और उसका उपयोग प्रभावित लोगों के विकास के लिए किया जाए । जंगल-झाड़ जमीन के मसले को अविलंब हल किया जाए । रैयतों-विस्थापितों से संबंधित समस्याओं एवं मसलों को लेकर मोर्चा सरकार एवं प्रबंधन से वार्ता करेगी तत्पश्चात मांगे नही मानने पर जोरदार आंदोलन किया जाएगा । आगामी स्थापना दिवस (21 सितंबर,2021 ) के दिन से ही झारखंड में रैयतों-विस्थापितों के हक़-अधिकार के लिए नए तरीके से आंदोलन का आगाज किया जाएगा ।अंत में सर्वसहमती से मोर्चा का 11वां स्थापना दिवस इस बार मगध आम्रपाली क्षेत्र टंडवा में मनाने की निर्णय ली गई, साथ ही मोर्चा में जुड़े नए सदस्यों विजय रजवार, निशा हेम्ब्रम, महेंद्र गंझू एवं हरिनारायण गंझू आदि क्रांतिकारी साथियों का सदस्यता एवं स्वागत केंद्रीय कमिटी के द्वारा किया गया।बैठक में फागु बेसरा सैनाथ गंझू राजकुमार महतो इक़बाल हुसैन जयनारायण महतो ब्रजकिशोर पासवान निरज भोक्ता रामचंद्र उरांव जेपी महाराज निशा हेम्ब्रोम द्वारिका दास गुरुदयाल साव रंथु उरांव तिग्गा महेंद्र कुमार गंझू हरीनारायन गंझू विजय महतो सूरज मुंडा सुरेश महतो जितेंद्र राम राजेश महतो सुरेश महतो अमर महतो मो. जल्फान मो.तस्दिक मो.आशिक तुलसी गंझू जगरनाथ महतो शिव प्रसाद चौहान सहदेव उरांव रवि बड़ायिक सुनील बाड़ा शिवराम दास नलिन सोरेन तिलका मांझी समेत तमाम विस्थापित प्रतिनिधि शामिल थे।