गढ़वा : झामुमो के गढ़वा जिला सचिव मनोज ठाकुर ने प्रेस विज्ञप्ति जारी कर कहा है कि मुख्यमंत्री मंईयां सम्मान योजना पर रोक लगाने की मांग को लेकर झारखंड हाई कोर्ट में दायर जनहित याचिका भाजपा की जन विरोधी नीति एवं हताशा का परिचायक है। यह याचिका भाजपा के इशारे पर ही की गई है।
श्री ठाकुर ने कहा कि झारखंड की हेमंत सरकार राज्य की बेटी, बहनों को आर्थिक रूप से स्वावलंबी बनाना चाहती है। इस कारण राशि सीधे उनके खाते में ही भेजी जा रही है। पूर्व की भाजपा सरकार ने राज्य में कोई भी जनहित का कार्य नहीं की। बल्कि राज्य का खजाना हाथी उड़ाने में लुटा दी। इस मुद्दे पर भी जनहित याचिका दायर होनी चाहिए।
उन्होंने कहा कि राज्य में हेमंत सोरेन की सरकार बनते ही प्रधानमंत्री आवास, राज्य सरकार का रॉयल्टी रोक दिया गया एवं राशन, पेंशन में मनमानी करते हुए मनचाहा कार्य किया।
केंद्रीय वृद्धा अवस्था पेंशन में केंद्र सरकार 1000 रुपए में मात्र 250 रुपए ही देती है। जबकि राज्य सरकार 750 रुपए देती है। इन मुद्दों पर भाजपा को केंद्र सरकार के विरुद्ध भी जनहित याचिका दर्ज करानी चाहिए। पहले वृद्धा पेंशन, विधवा पेंशन, विकलांग पेंशन के लिए काफी कम टारगेट आता था। जिस कारण किसी पेंशन धारी की मृत्यु होने पर ही दूसरे व्यक्ति का नाम जुड़ पा रहा था। पेंशन की आस में लोगों की मौत हो जाती थी। ऐसे सभी लोगों को लाभ पहुचाने के लिए हेमंत सरकार ने सर्वजन पेंशन योजना शुरू की। जिसमें टारगेट का सिस्टम पूरी तरह से खत्म कर दिया गया है। साथ ही झारखंड सरकार छात्र-छात्राओं, गरीबों, किसानों, आमजनों के लिए जनहित की सौकड़ों योजनाएं चला रही है।
भाजपा ने अपने कार्यकाल में जनहित की कौन सी योजना चलायी उसे बताना चहिए। राज्य में बेहतर कार्य कर रही हेमंत सरकार को भाजपा ने ईडी, सीबीआई लगाकर झूठे मुकदमें में जेल भेज दी। राज्य की जनता भाजपा के इस करतूत को जानती है। चंपाई सोरेन को लालच देकर भाजपा में शामिल करने को बड़ी उपलब्धि मान रही है। यदि भाजपा में दम है तो चंपाई सोरेन को मुख्यमंत्री की घोषणा कर विधानसभा चुनाव लड़े, तब असली औकात पता चल जाएगा। श्री ठाकुर ने कहा कि समय आने पर राज्य की जनता भाजपा को मुंहतोड़ जवाब देगी।