जिनगा और लुगु पहाड़ के बीच बसे लालगढ़ व टूटीझरना के जंगलों में सुरक्षा बलों ने चलाया सर्च अभियान, सीआरपीएफ के दो जवान को लगी गोली,
एक को आई मामूली चोटें, एक गंभीर लेकिन अब खतरे से बाहर : एसपी
गोमिया। बेरमो अनुमंडल के जगेश्वर बिहार थाना अंतर्गत अति संवेदनशील जिनगा और लुगु पहाड़ के बीच जागेश्वर बिहार थाना क्षेत्र के टूटीझरना व लालगढ़ इलाके में बसा बथान टोला के पास जंगलों में गुरुवार को सीआरपीएफ और जिला पुलिस के जवानों द्वारा संयुक्त रूप से नक्सलियों के विरुद्ध सर्च अभियान चलाया गया।
जानकारी के अनुसार सीआरपीएफ जगुआर और जिला पुलिस के द्वारा बीती शाम से ही टूटीझरना व लालगढ़ के संवेदनशील इलाकों में संयुक्त रूप से नक्सलियों के विरुद्ध सर्च ऑपरेशन चलाया गया। रात 9-10 बजे के बीच जंगल में 20-22 की संख्या में मौजूद नक्सलियों ने पुलिस को देखते हीं फायरिंग शुरू कर दी जिसमें सीआरपीएफ के दो जवानों को गोली लगने से घायल हो गए। गंभीर रूप से घायल सीआरपीएफ 154 बटालियन के सत्येंद्र कुमार सिंह की पेट में गोली लगने से गंभीर रूप से घायल हुए हैं। वहीं उसी बटालियन के विष्णु सिंह मामूली रूप से घायल हैं।
घायल जवानों को किया गया रेस्क्यू
सर्च अभियान का नेतृत्व कर रहे एसडीपीओ सह प्रभारी एएसपी अभियान सतीश चंद्र झा ने बताया कि पहले नक्सलियों द्वारा फायरिंग किया गया जिसके जवाबी कार्रवाई में जवानों में भी गोलियां चलाई, मौजूद नक्सली खुद के पैर उखड़ते देख वेपन्स गोलियां सहित अन्य सामानों को वहीं छोड़ भाग खड़े हुए। बताया कि मध्यरात्रि घायल जवानों का रेस्क्यू कर उसे रांची के मेडिका अस्पताल में भर्ती कराया गया, जहां वे इलाजरत हैं।
50-50 राउंड चली गोली
एएसपी अभियान ने बताया कि नक्सलियों द्वारा गोलियों की जवाबी फायरिंग में दोनों ओर से लगभग 50-50 राउंड गोलियां चली है।
सूचनोपरांत पहुंचे एसपी
एएसपी अभियान एससी झा ने बताया कि घायल जवानों की सूचनोपरांत गुरुवार सुबह बोकारो एसपी चंदन कुमार झा व सीआरपीएफ की कई टुकड़ियां घटना स्थल पहुंची। बताया कि एसपी झा की आगवानी में सुरक्षा बल गुरुवार को पुनः दिन के उजाले में घटनास्थल लालगढ़ व टूटी झरना के जंगल पहुंचकर सभी संवेदनशील ठिकानों में छापेमारी की और जवानों का हौसलाअफजाई किया।
वीरसेन व दीपक का दस्ता सक्रिय
एएसपी अभियान ने बताया कि लुगु पहाड़, जिनगा पहाड़ इलाकों में वीर सेन व दीपक उर्फ कारु यादव का दस्ता सक्रिय है और उसी दस्ते ने संभवतः सुरक्षा बलों पर फायरिंग की और अपने पैर उखड़ते देख रात के अंधेरे में जंगलों की ओर भाग खड़े हुए। इधर ग्रामीणों ने बताया कि बीती रात करीब 10 बजे के करीब गोलियों की आवाज सुनाई दी गई।
जंगलों व पहाड़ों में आधा दर्जन से अधिक सीआरपीएफ की कंपनी सक्रिय
बताया कि विगत कई दिनों से क्षेत्र में नक्सलियों की मौजूदगी की सूचना के बाद सीआरपीएफ की आठ टुकड़ियां झुमरा, लुगु व जिनगा पहाड़ के जंगलों, संवेदनशील, अति नक्सल प्रभावित इलाकों व जंगलों में सर्च अभियान चला रही है।
अभियान का मुआयना व जवानों को ब्रीफ कर निकले बोकारो एसपी चंदन कुमार झा ने बताया कि रात 10:30 बजे फोर्स व नक्सलियों नक्सलियों के बीच मुठभेड़ की सूचना मिली थी। जिसमें सीआरपीएफ जगुआर और जिला पुलिस द्वारा चलाए गए संयुक्त अभियान नक्सलियों का एक हथियार, कुछ गोली व अन्य दैनिक उपयोग की वस्तुओं की भी बरामदगी हुई है। सीआरपीएफ के एक जवान जख्मी हुए हैं जिसका ईलाज रांची के अस्पताल में चल रहा है। चिकित्सकों के अनुसार अभी उनकी हालत खतरे से बाहर है। अभी हमलोग सर्च अभियान चला रहे हैं यह अभी आगे भी चलती रहेगी। आगे भी बोकारो जिले में नक्सल से संबंधित अभियान में सफलता मिलती रहेगी। हालांकि इस दौरान उन्होंने किसी दस्ते के बारे में कुछ भी बोलने से इंकार किया है।
सीआरपीएफ के कई बड़े पदाधिकारी पहुंचे गोमिया
बीती रात सीआरपीएफ व जिला पुलिस के साथ नक्सलियों की हुई मुठभेड़ के बाद 154 बटालियन के जवान सत्येंद्र सिंह के पेट में गोली लगने की घटना के बाद सीआरपीएफ के आईजी डॉ. महेश्वर दयाल जवानों का हौसला बढ़ाने हेलीकॉप्टर से गोमिया पहुंचे। बताया जाता है कि इस दौरान उन्होंने गोमिया में मौजूद रहावन सहित अन्य सीआरपीएफ कैंपों में पहुंचकर जवानों से मुलाकात की और नियंत्रण स्थिति का जायजा लिया। इस दौरान सीआरपीएफ के डीआईजी डीके चौधरी, 26 वीं बटालियन के कमांडेंट कमलेंद्र प्रसाद सिंह व 154 बटालियन के कमांडेंट अच्युतानंद भी साथ थे। बताया जाता है कि उक्त पदाधिकारी मेडिका अस्पताल में इलाजरत घायल जवान सत्येंद्र सिंह से भी मुलाकात की।